कोरोना महामारी के कारण महामंदी के बाद से सभी प्रकार के बिजनेस में काफी उतार-चढ़ाव आ गया है। डेढ़ साल तक लॉकडाउन लगे रहने के कारण आज भी बाजार पूरी तरह से नहीं चल पा रहे हैं। लॉकडाउन से पहले जिस तरह से ग्राहक बाजार में आता था अभी उसका लगभग आधा ग्राहक बाजार में आ रहा है। लॉकडाउन के कारण बिजनेस में हुए घाटे से व्यापारी आज भी परेशान है। इसके अलावा बेरोजगारी व कम वेतन वाली जॉब से परेशान नया व्यापार शुरू करने वालों को अपेक्षा के अनुरूप मुनाफा नहीं मिल पा रहा है। अधिकांश व्यापारी अपना कारोबार बढ़ाना चाहते हैं ताकि उनकी आमदनी में इजाफा हो सके।
Do’s and Dont’s | क्या करें और क्या न करें
बिजनेस बढ़ाने के लिए कारोबारियों को ऐसे कौन से उपाय करने चाहिये कि उनका व्यापार तेजी से बढ़ सके। इस बारे में विशेषज्ञों की राय है कि बिजनेस ग्राहक से ही चलता है। इसलिये बिजनेस बढ़ाने के लिए बिजनेसमैन को अपने ग्राहकों पर विशेष फोकस करना चाहिये। बिजनेस मैन को वो सारे काम करने चाहिये जिनसे ग्राहक उनके संस्थान में आये। इसके अलावा ऐसे प्रयास करने चाहिये कि एक बार आया ग्राहक संस्थान पर बार-बार आये। साथ में अपने परिचितों, रिश्तेदारों व इष्ट-मित्रों को भी ग्राहक के रूप में आपके संस्थान पर लाये। इसके लिए बिजनेस मैन को कुछ खास उपाय करने होंगे।
Apne business ko kaise grow karein | बिजनेस को बढ़ाने के लिये क्या करना चाहिये
बिजनेस को बढ़ाने के लिए बिजनेस मैन को जो खास-खास उपाय करने चाहिये, उनमें से प्रमुख इस प्रकार हैं:-
- ऑफलाइन बिजनेस के साथ ऑनलाइन बिजनेस
- ग्राहकों को अधिक से अधिक सुविधाएं दें
- असली और शुद्ध माल बेचें
- माल के रेट में किसी तरह का हेरफेर न करें
- यदि प्रॉफिट में से गुंजाइश हो तो ग्राहक को लाभ पहुंचायें
- ग्राहकों के साथ डीलिंग बहुत अच्छी करें
- कंपनी की गारंटी-वारंटी में ग्राहक का सहयोग करें, पल्ला न झाड़ें
- ग्राहकों को बहुत ही अच्छी से इंटरटेन करें
- ग्राहको का विश्वास जीतें
- अपनी बिजनेस पॉलिसी को ट्रांसपेरेंट बनायें
- ग्राहकों को डीलिंग करने के लिए कुशल सहयोगी को नियुक्त करें
- सामाजिक व धार्मिक कार्यक्रम आयोजित करें
- संस्थान के अन्य खर्चों को कम करके ग्राहकों के लिए ऑफर व आकर्षक स्कीम चलाएं
- त्यौहारों के आने पर ग्राहकों को विशेष छूट या तोहफे भेंट करें
1. ऑफलाइन बिजनेस के साथ ऑनलाइन बिजनेस करें
यदि आपका ऑफलाइन बिजनेस अच्छी तरह से नहीं चल रहा है तो आपको आजकल के जमाने का ऑनलाइन बिजनेस भी शुरू कर देना चाहिये। आपको एक अच्छी वर्ल्डक्लास वेबसाइट बनवानी चाहिये। सोशल मीडिया के विभिन्न फ्री प्लेटफार्मों पर अपने बिजनेस का जमकर प्रचार करें। ऑफलाइन बिजनेस के लिए लोकल लेबल पर कम खर्चे वाला प्रचार करें। आप बड़े-बड़े इस्टैब्लिस संस्थानों के प्रचार की तर्ज पर प्रचार न करें।
2. ग्राहकों को अधिक से अधिक सुविधाएं दें
ग्राहक किसी भी बिजनेस की जान होता है। ग्राहक को राजा भी कहा जाता है। इसलिये बिजनेस मैन को चाहिये कि यदि उसे अपना बिजनेस बढ़ाना है तो सबसे पहले अपने ग्राहकों का हर तरह से ख्याल रखे। ग्राहक को मानसिक, शारीरिक रूप से अधिक से अधिक सुविधाएं देकर अपना बनाया जा सकता है। आप ग्राहक को जितना ज्यादा खुश रखेंगे और संतुष्ट करेंगे, ग्राहक आपके पास खुद तो आयेगा तथा अपने परिचितों, रिश्तेदारों को भी ग्राहक के रूप में आपके पास लायेगा।
3. असली व शुद्ध माल बेचें
आपको अपने संस्थान की साख का सबसे अधिक ध्यान रखना होगा। मार्केट में अधिकांश छोटे दुकानदार अधिक फायदे वाले सामान को रख कर अधिक मुनाफा कमाना चाहते हैं, वह ग्राहक के हित को नहीं देखते हैं। ऐसे दुकानदार बाजार में आने वाले एजेंटों से अलग-अलग लोकल माल खरीद कर अपना फायदा बनाते हें लेकिन ग्राहक के साथ चाल खेलते हैं। ये लोकल कंपनियां कभी माल का वजन कम करतीं हैं और कभी जल्दी-जल्दी दाम बढ़ातीं हैं। इससे ग्राहक चिड़चिड़ा जाता है। जरूरत पर एक बार तो आपसे माल खरीद लेता है लेकिन आपकी इन चालों से सतर्क होकर उसके बाद वो दूसरी दुकान तलाशता है। दूसरी ओर ब्रांडेड और फिक्स रेट वाले संस्थान के ग्राहक नियमित रूप से आते रहते हैं।
इसलिये आप अपने संस्थान में अधिक फायदे के लालच में नकली, डुप्लीकेट, लो क्वालिटी के सामान को न बेचें , इससे केवल वही ग्राहक आयेंगे जो सस्ता माल खरीदना चाहते हैं लेकिन इस तरह के ग्राहक जल्द ही दूसरी जगह चले जायेंगे। आपको व्यापार स्थायी रूप से चलाना है न कि एक बार। आपको अपने ग्राहक को एक बार में ही काटने की कोशिश नहीं करनी चाहिये बल्कि ऐसा प्रयास करना चाहिये कि नियमित रूप से ग्राहक आपके पास आता रहे। इसका फायदा अपको लम्बे समय तक मिलता रहेगा।
4. माल के रेट में किसी तरह का हेरफेर न करें
आज का जमाना बहुत ही कम्पटीटिव है और ग्राहक बहुत ही चालाक और सतर्क होता है। मार्केट में ब्रांडेड वस्तुओं के रेट में हेरफेर नहीं करना चाहिये और न ही प्रिंट रेट की जगह कंपनी द्वारा फिक्स किये गये रेट पर ही माल बेचना चाहिये। कंपनी की ओर से रेट में किसी तरह के बदलाव को ग्राहक को पहले ही बता देना चाहिये। इससे ग्राहक के दिमाग में आपकी अच्छी छवि बनती है।
5. यदि प्रॉफिट में से गुंजाइश हो तो ग्राहक को लाभ पहुंचायें
आपको अपना बिजनेस बढ़ाना है तो ग्राहक का विशेष ध्यान रखना होता है। आपके अपने हिस्से के प्रॉफिट में थोड़ी बहुत गुंजाइश हो तो उसे ग्राहक को दे देने से ग्राहक आपका अपना हो जायेगा। मामूली से मामूली लाभ से भी ग्राहक आपकी ओर आकर्षित होता रहेगा। खुद भी आयेगा और अपने परिचितों को भी लायेगा। आपको अपने ग्राहकों को लाभ पहुंचाने के लिए मार्केट में चल रही लेटेस्ट स्कीमों की जानकारी दें और उसके फायदे भी बतायें।
6. ग्राहकों के साथ डीलिंग बहुत अच्छी तरह से करें
ग्राहक को राजा व देवता की उपाधि दी जाती है क्योंकि ग्राहक ही बिजनेस का एकमात्र स्रोत होता है। इसलिए ग्राहक के साथ बहुत ही अच्छी तरह से व्यवहार करना चाहिये। यदि ग्राहक एक बार आपसे किसी भी बात को लेकर नाराज भी हो जाये तो उसे मनाना चाहिये और न भी माने तब भी उससे बहस या वाद-विवाद नहीं करना चाहिये।
7. कंपनी की गारंटी-वारंटी में ग्राहक का सहयोग करें, पल्ला न झाड़ें
देखने में आता है कि कोई गारंटी-वारंटी वाली चीज ग्राहक खरीदता है और कंपनी द्वारा दिये गये समय में वो चीज खराब हो जाती है तो वो बेचारा ग्राहक अपने दुकानदार के पास ही आता है। उस समय दुकानदार का व्यवहार बदला हुआ देखा जाता है और वो अपने ग्राहक के हित को नहीं बल्कि अपनी परेशानी को देखते हुए उससे पल्ला झाड़ लेता है। उसे कंपनी के कस्टमर केयर सेंटर जाने को कहता है। उस समय ग्राहक का दिल टूट जाता है। बिजनेसमैन को चाहिये कि वह अपने ग्राहक के हितों की चिंता करे, उसे ग्राहक की मदद करनी चाहिये। कंपनी के कस्टमर केयर जाने का रास्ता बताने की बजाये उस कंपनी के एजेंट से मदद कराने का आश्वासन देना चाहिये या कोई दूसरा ऐसा रास्ता निकालना चाहिये ताकि ग्राहक यह समझ सके कि संस्थान उसकी मदद करने को तैयार है।
8. ग्राहकों को बहुत ही अच्छी से इंटरटेन करें
जब आपके संस्थान में कोई नया या पुराना ग्राहक आये तो उसका जोरदार स्वागत करें। उसकी प्रत्येक बात को गंभीरता से सुनें। यदि ग्राहक की मनपसंद वाला सामान हो तो उसे दिखायें तथा दूसरे जरूरत के सामान के बारे में पूछें। यदि उसकी मनपसंद का सामान न हो तो मुस्करा कर माफी मांगते हुए उससे अगले सामान के बारे में बातचीत करें। इसके अलावा यदि ग्राहक की सूची में से एकाध सामान आपके संस्थान में न हो तो उसे अपने पड़ोस के संस्थान से मंगाकर उसका सहयोग करें। इससे ग्राहक आपके पास ही आयेगा।
9. ग्राहकों का विश्वास जीतें
ग्राहकों का विश्वास जीतना बिजनेस चलाने के लिए सबसे जरूरी काम है। आप बाजार के मुताबिक सामान दें, सामान की क्वालिटी में किसी तरह की कमी नहीं हो। सामान के रेट में एक बार बाजार के रेट से एकाध रुपये कम हों तो ठीक वरना बाजार रेट ही रखें। इसके अलावा सामान की एक्सपायरी डेट का पूरा ख्याल रखें। ओरिजनल सामान ही देने की कोशिश करें यदि नहीं हो तो उसकी जगह सब्सीट्यूट सामान देने की कोशिश न करें। इससे ग्राहक को आपके प्रति पूरा विश्वास हो जायेगा। ऐसा ग्राहक आपकी ही दूकान से सामान लेगा,बंद होने पर वापस तो चला जायेगा लेकिन दूसरी दूकान से सामान नहीं लेगा।
10. अपनी बिजनेस पॉलिसी को ट्रांसपेरेंट बनायें
आपका बिजनेस जितना साफ सुथरा होगा, ग्राहक आपसे उतना ही अधिक संतुष्ट रहेगा। आपको चाहिये कि आप अपनी जो भी बिजनेस पॉलिसी बनायें वो पूरी तरह से ट्रांसपेरेंट हो। यानी आपके ग्राहक को आपकी बिजनेस पॉलिसी की एक-एक चीज पहले से पता होनी चाहिये। इससे आपके प्रति ग्राहक के मन में यह धारणा रहेगी कि आपके संस्थान में किसी तरह की गड़बड़ी नहीं होती है। किसी भी ग्राहक के साथ किसी तरह का पक्षपात नहीं होता है। साथ ही यह विश्वास रहता है कि चाहे बुजुर्ग, महिला या बच्चा कोई भी आये। सभी के साथ एकसमान व्यवहार होगा और एकही तरह का व्यापार होगा।
11. ग्राहकों को डीलिंग करने के लिए कुशल सहयोगी को नियुक्त करें
ग्राहकों के साथ अच्छी डीलिंग के लिए संस्थान में ऐसे कुशल सहयोगी नियुक्त करने चाहिये जो ग्राहक को हर तरह से संतुष्ट करें तथा ग्राहकों को संस्थान से जोड़ने का काम करें। कुशल सहयोगी अपनी वाकपटुता से ग्राहकों से नजदीकियां बढ़ायें। चाहे पुरानी यादें ताजा करें, या ग्राहक की तारीफ करें, अथवा ग्राहक की पसंद का विशेष ख्याल रखें। इस तरह ग्राहक को यह महसूस होता है कि संस्थान उसके साथ बहुत नजदीकी का रिश्ता रखता है। इससे वह भी संस्थान से अपना नजदीकी रिश्ता रखता है और संस्थान नहीं छोड़ना चाहता है। इसका लाभ संस्थान को मिलता है।
12. सामाजिक, धर्मिक कार्यक्रमों का आयोजन करें
अपने ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए उनके क्षेत्र में सामाजिक व धार्मिक कार्यक्रमों की मेजबानी करनी चाहिये। यदि आप अपने आवास, संस्थान या अपने क्षेत्र में इस तरह के कार्यक्रम आयोजित करें तो ध्यान रखें कि अवकाश या त्यौहार के आसपास का दिन होना चाहिये । इस कार्यक्रम में अपने सभी प्रमुख ग्राहकों को आमंत्रित करना चाहिये। ये तो बात हुई ऑफलाइन की।
इसके अलावा ऑनलाइन विचार गोष्ठी, सेमिनार, की तरह के अनेक कार्यक्रम भी समय-समय पर सोशल मीडिया के प्लेटफार्म पर करते रहना चाहिये। इन कार्यक्रमों के माध्यम से आप अपने ग्राहकों से नजदीकियां तो बढ़ायें। साथ ही उनकी पसंद व नापसंद के बारे में भी फीडबैक लें और जब उनसे व्यापार करें तो इस फीडबैक का ध्यान रखेंगे तो ग्राहक आपके प्रयास से बहुत खुश होगा।
13. संस्थान के खर्चों को कम करके ग्राहकों दें विशेष ऑफर व स्कीम
आप ग्राहकों को अपने हिस्से के मुनाफे का थोड़ा सा भाग देकर उन्हें आकर्षित को कर ही सकते हैं। साथ में यदि आप संस्थान के कुछ खर्चो में कटौती करके बचत कर लें और उस बचत से समय-समय पर अपने ग्राहकों को मार्केट से हटकर कुछ विशेष ऑफर या स्कीम देंगे तो ग्राहक आपकी ओर आकर्षित होगा।
14. त्यौहारों के आने पर ग्राहकों को विशेष छूट या तोहफे भेंट करें
बिजनेसमैन को त्यौहारों के आने से पहले ही तैयारी कर लेनी चाहिये। त्यौहारों पर ग्राहकों को खुश करने के लिए छोटे-मोटे तोहफे या विशेष त्यौहारी छूट दें। लेकिन इस बात का विशेष ध्यान रखें कि आपके रेट बाजार रेट से कतई अलग नहीं होने चाहिये। अन्यथा आपके ग्राहक यही सोचेंगे कि आपने फायदा उठाने के लिए जो छूट व तोहफा दे रहे हैं उसकी कीमत अपने सामान के रेट में शामिल कर ली है। इस तरह से ग्राहक आपके प्रति अविश्वास व्यक्त कर सकता है। इसका संस्थान को बहुत बड़ा खामियाजा भुगतना पड़ सकता है।
15. ऑनलाइन बिजनेस के खास टिप्स
यदि बिजनेस में ऑनलाइन बिजनेस को जोड़ते हैं तो आपको अपनी साख और ग्राहक के हित का पूरा ख्याल रखना होगा। जो माल ग्राहक द्वारा आर्डर किया गया है , वही माल सुरक्षित रूप से ग्राहक के पास आपके द्वारा निर्धारित समय पर पहुंच जाना चाहिये। आपकी पैकिंग आकर्षक होनी चाहिये। डिलीवरी सही समय पर होनी चाहिये।
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